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बुधवार, 25 फ़रवरी 2009

इमोसनल अत्याचार नहीं....प्यार...

शायद इस पोस्ट को कुछ दिन पहले ही आ जाना चाहिए था...अब इसका विषय ही कुछ ऐसा है...
नहीं नहीं, मैं गलत हूँ... इस पोस्ट का विषय ऐसा है जो हर मौसम, हर परिस्थिति और हर जगह पर चर्चा का विषय है..
और चूँकि मैं अपने बड़े भाई की शादी में व्यस्त था, इसलिए वो विशिष्ट दिन हाथ से फिसल गया जिस दिन शायद इसके पाठक ज्यादा होते :) ...वैलेंटाइन डे...

पर चूँकि इस पोस्ट का विषय है प्या, तो मैं यह समझता हूँ कि अभी भी काफी लोगों को इस विषय पर और कुछ पढना है, जानना है... वैसे भी इस जालिम दुनिया में एक प्यार ही है जो अभी सबसे महंगा और सबसे ज्यादा मांग में है.. कौन कहता है कि केवल पेट्रोल और गैस के ही दाम बढ़े हैं... साहब प्यार करके देखिये तो सही, तब पता चलेगा महंगाई किस चिड़िया का नाम है... ऐसा मैं नहीं कहता हूँ... मेरा दोस्त है जो इस मंजुल प्यार की गिरफ्त में है... नाम तो मैं नहीं बता सकता पर एक मस्त वाकया हुआ कुछ दिनों पहले - हमने उससे पुछा कि वैलेंटाइन डे पर कितना खर्चा हुआ और उसका जवाब था कि उसके लिए तो हर दिन ही वैलेंटाइन डे है और हम हंसते-हंसते लोट-पोट हो गए .. और इस कारण वो दोस्त भी सुर्खियों में आया था...

खैर जो असली वाकया मैं आप सबको बताना चाहता हूँ वो मुझे क्लास १२ में सुनने को मिला था जब मैं कोटा में पढता था.. आज तो मैं कंप्यूटर पर गाने वगैरह सुन लेता हूँ और वैसे भी पिलानी में रेडियो स्टेशन है ही नहीं जो मैं रेडियो सुनूं.. तो कोटा में गाने सुनने का एक ही साधन था.. "विविध भारती".... जिसका फिलहाल उपलब्ध ना होना काफी खलता है... तो ऐसा ही एक वैलेंटाइन डे विविध भारती भी मना रहा था और उस पर एक प्रोग्राम आया जिसके तहत पूरे भारतवर्ष में से कोई भी उन्हें कॉल करके वैलेंटाइन डे पर अपनी राय बता सकता था...

तभी एक कॉल आई जो की बिहार से किसी ४५-५० साल के सज्जन ने किया था.. उन्होंने ने कहाँ कि वो एक निजी बात सभी के साथ बांटना चाहते हैं... उन्होंने कहा कि आज वो शादी-शुदा हैं और उनके एक बेटा और एक बेटी है...

पर जब उनकी शादी नहीं हुई थी, तब उन्हें भी किसी से प्यार हुआ था... पर उनकी कभी हिम्मत नहीं हुई की वो उस लड़की को अपने दिल कि बात बता सकें और फिर कुछ दिनों बाद उस लड़की की कहीं शादी हो गयी और उसके बाद से आज तक वो उससे नहीं मिले हैं और ना ही उन्हें पता है कि वो अभी कहाँ पर है... पर इतना कुछ होने के बावजूद उस लड़की के बारे में वो यही सोचते हैं कि वो जहाँ पर भी हो, जिस किसी के साथ हो, बस खुश हो..बस |

उन्होंने यह भी बताया कि यह बात उनके परिवार में उन्होंने सभी को बताया है और किसी को कोई ऐतराज़ भी नहीं है... यह बात मुझे इतनी अच्छी लगी कि इस बार का पोस्ट उसी बात के नाम है...

प्यार वो नहीं होता है जो केवल एक लड़का-लड़की के बीच ही होता है..हम अपने माता-पिता, भाई-बहन और दोस्तों से भी प्यार करते हैं... बस फर्क यही है की उनके साथ प्यार बांटने के लिए किसी विशिष्ट दिन की रचना नहीं की गयी है...
प्यार वो नहीं है जो आजकल की युवा समझती है... किसी के साथ दिन-भर रहना और रातों-रात फ़ोन पर बात करना...
प्यार वो नहीं है जब आप किसी को अपनी सारी बातें बताते हैं और उसकी पूरी बातें जानने के भी इच्छुक हैं... प्यार वो नहीं है जब आप उसे वैलेंटाइन डे पर किसी के साथ मनाते हैं...
प्यार वो नहीं है जब आपको कोई कीमती तोहफा देता हो और नीचे लिखता हो "With Lots Of Love"...

काफी लोगों को ये बातें फ़िल्मी लगती हैं.. पर एक सच यही है कि फिल्मों में कभी-कभी सच्चाई दिखा दी जाती है और मुझे ऐसा ही प्रतीत होता है की सच्चाई ये है....
प्यार तो आप किसी से बिना मिले भी कर सकते हैं...अब लडकियां आप बताइए कभी शाहरुख़ से मिली हैं ?? पर जब पूछेंगे तो कहेंगी - "Ya I simply love him" :) .. खैर मजाक अलग, मैं यही मानता हूँ कि प्यार बढ़ने के लिए हमेशा साथ रहना ज़रूरी नहीं है...कभी कभी साथ रहकर भी प्यार वैसा ही रहता है..अब उन जनाब को ही देख लीजिये जो आज तक उस लड़की से नहीं मिले हैं और फिर भी उतना ही प्यार करते हैं जितना पहली बार देख कर हुआ था...
प्यार तो आप बिना किसी से कुछ कहे भी कर सकते हैं.. ऐसा बोलने कि कतई ज़रूरत नहीं है - "अगर मैं बात नहीं करूँगा/गी तो प्यार कैसे बढ़ेगा"..प्यार बोल-बोल कर नहीं चढ़ता है...वो तो बिन बोले ही बढ़ता रहता है...और सब कुछ कह जाता है...

कुछ लोगों को लग रहा होगा कि वो रेडियो वाले भाई-साहब कैसे हैं जिनकी शादी भी हो गयी है पर फिर भी वो किसी पराई औरत से प्यार करते हैं.. अब जनाब आप ही बताइए अगर उनके घर में इस बात को लेकर को परेशानी नहीं है तो हम जोर-ज़बरदस्ती ही अपने मकान में तोड़-फोड़ क्यों करें ?? मस्त रहिये और अपना प्यार बढाइये ना...
खैर आप जो भी सोचते हों इस लवेरिया के बारे में ...(जैसा अपना बॉलीवुड कहता है) ... टिपण्णी करके बताएं... और जब आप टिपण्णी लिख रहे हों तो यह गाना सुनते जाइये जो मैंने अपने भैया की शादी में गाया था... तब तक के लिए इमोनल प्यार करते रहिये और हौले-हौले प्यार बढ़ाते रहिये..
सायोनारा..आदाब...